दिल्ली
मानहानि केस में राहुल गांधी को 2 साल की सजा..
‘सभी चोरों का सरनेम मोदी क्यों होता है’ वाले बयान से जुड़े मानहानि केस में राहुल गांधी को सूरत कोर्ट ने गुरुवार को दोषी करार दिया। इस फैसले के 27 मिनट बाद उसी कोर्ट ने उन्हें 2 साल की सजा सुनाई। इसके कुछ देर बाद उन्हें 30 दिन के लिए जमानत भी दे दी गई। सुनवाई के दौरान राहुल उस समय कोर्ट में मौजूद रहे।
राहुल ने कोर्ट में अपना पक्ष भी रखा। उनके वकील के मुताबिक, राहुल ने कहा कि बयान देते वक्त मेरी मंशा गलत नहीं थी। मैंने तो भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाई थी। इस मामले में उन पर पिछले 4 साल से मानहानि का मामला चल रहा था। इससे पहले कोर्ट ने 17 मार्च को इस मामले में सभी दलीलें सुनने के बाद फैसला सुरक्षित रखा था।
राहुल आईपीसी की धारा 500 में दोषी करार
राहुल को आईपीसी की धारा 500 के तहत दोषी करार दिया गया है। इसमें 2 साल की सजा का प्रावधान है। राहुल के वकील ने कोर्ट से कहा- इस पूरी घटना में कोई घायल नहीं हुआ। इससे किसी को कोई नुकसान नहीं पहुंचा है। इसलिए हम किसी प्रकार की दया की याचना नहीं करते हैं।
पहले जानिए क्या है मामला
2019 के लोकसभा चुनाव से पहले कर्नाटक के कोलार में एक रैली के दौरान राहुल ने अपने भाषण में कहा था कि चोरों का सरनेम मोदी है। सभी चोरों का सरनेम मोदी क्यों होता है, चाहे वह ललित मोदी हो या नीरव मोदी हो चाहे नरेंद्र मोदी। इस केस की सुनवाई के दौरान राहुल गांधी तीन बार कोर्ट में पेश हुए थे। आखिरी बार अक्टूबर 2021 की पेश के दौरान उन्होंने खुद को निर्दोष बताया था।
पूर्णेश ने कहा था- आखिरी सांस तक लड़ेंगे
यह केस सूरत पश्चिम के विधायक पूर्णेश मोदी ने दर्ज किया था। पूर्णेश का कहना था कि राहुल गांधी ने हमारे समाज को चोर कहा था। चुनावी सभा में हमारे खिलाफ आरोप लगाए गए, जिससे हमारी और समाज की भावनाओं को ठेस पहुंची। इसी के चलते हम इस मामले को कोर्ट में लेकर आए। हम आखिरी सांस तक लड़ेंगे। हमें न्यायपालिका पर पूरा भरोसा है।
हालांकि, राहुल गांधी के वकील ने दलील दी थी कि पूर्णेश मोदी को इस मामले में पीड़ित पक्ष के रूप में शिकायतकर्ता नहीं होना चाहिए था, क्योंकि राहुल गांधी के अधिकांश भाषणों में प्रधान मंत्री को निशाना बनाया गया था, न कि पूर्णेश मोदी को।
रेप पीड़ितों पर दिए बयान पर राहुल गांधी ने दिल्ली पुलिस की नोटिस पर मेल के जरिए 10 पॉइंट में 4 पेज का जवाब दिया है। राहुल ने कहा कि क्या यह मेरी ओर से अडाणी पर दिए गए बयान की वजह से हो रहा है। मैंने बयान 45 दिन पहले दिया था, जिस पर अब अचानक नोटिस देने की क्या जरूरत पड़ गई? देश में अभी भी महिलाओं के साथ यौन उत्पीड़न हो रहा है।
You must be logged in to post a comment Login