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इजराइल-हमास जंग पर PM मोदी की ईरानी राष्ट्रपति से बात,रईसी बोले- फिलिस्तीनियों पर जुल्म रोकने के लिए पूरी ताकत लगाए भारत..

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इजराइल-हमास जंग को आज एक महीना पूरा हो चुका है। इस बीच सोमवार को ईरान के राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी ने जंग को लेकर PM मोदी से फोन पर बात की। उन्होंने कहा- भारत से उम्मीद है कि वो फिलिस्तीनियों पर हो रहे ज़ुल्म को रोकने के लिए अपनी पूरी ताकत लगाएगा। फिलिस्तीनियों की हत्या से सभी आजाद देश गुस्से में हैं।

रईसी ने कहा- अगर नाजियों के खिलाफ यूरोप की लड़ाई साहस भरा काम था, तो बच्चों की हत्या करने वाले यहूदी शासन के खिलाफ लड़ाई की निंदा नहीं की जा सकती है। वहीं PM मोदी ने तनाव को रोकने, मानवीय सहायता पहुंचाने और मिडिल-ईस्ट में शांति स्थापित करने की जरूरत पर जोर दिया। इसके अलावा दोनों देशों के आपसी कारोबार चाबहार बंदरगाह प्रोजेक्ट भी बातचीत का मुद्दा रहा।

दूसरी तरफ, ‘यरुशलम पोस्ट’ के मुताबिक- भारत में रहने वाली यहूदी कम्युनिटी के करीब 200 लोग इस वक्त IDF का साथ दे रहे हैं। ये सभी नेई मेनाशे कम्युनिटी से ताल्लुक रखते हैं। यह जानकारी शेवी इजराइल नामक गैर सरकारी संगठन ने दी है।

इसके मुताबिक- हाल के दिनों में 75 लोग इजराइल पहुंचे। ये सभी ट्रेंड फाइटर हैं। इनमें तो कुछ एक्टिव पोस्ट पर, तो कुछ रिजर्व में रखे गए हैं। शेवी संगठन दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में रहने वाले इजराइलियों के लिए काम करता है। नेई मेनाशे कम्युनिटी के बारे में कहा जाता है कि वो इजराइल के विलुप्त होती जनजाति से आते हैं।

नेतन्याहू बोले- बंधकों को निकालने के लिए कुछ घंटों तक रोक सकते हैं जंग
वहीं सोमवार देर रात इजराइली PM बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा है कि हमास के खात्मे के बाद गाजा में सुरक्षा की जिम्मेदारी इजराइल के पास होगी। नेतन्याहू ने कहा- जब हम ऐसा नहीं करते थे तब वहां हमास का आतंक उस पैमाने तक फैल गया, जिसका हमें अंदाजा नहीं था।

इजराइली PM ने पहली बार ये भी स्वीकार किया है कि बंधकों के निकलने और फिलिस्तीनियों तक सहायता पहुंचाने के लिए वो जंग को थोड़ी-थोड़ी देर के लिए रोक सकते हैं। उन्होंने कहा- हम स्थिति का मुआयना करके जरूरत पड़ने पर कुछ घंटों का विराम घोषित कर सकते हैं।

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इजराइल ने फिर अस्पताल-रिफ्यूजी कैंप पर हमला किया
सोमवार को इजराइल ने एक बार फिर गाजा के अस्पताल को निशाना बनाया। गाजा के नासेर मेडिकल कॉम्प्लेक्स में इजराइल एयरस्ट्राइक में 8 लोगों की मौत हो गई, वहीं दर्जनों घायल हुए। इसके अलावा इजराइल ने अल-मगाजी रिफ्यूजी कैंप पर भी हमला किया।

7 अक्टूबर को जंग की शुरुआत के बाद से अब तक 10 हजार से ज्यादा फिलिस्तीनियों ने अपनी जान गंवाई है। वहीं करीब 25 हजार लोग घायल हुए हैं। गाजा हेल्थ मिनिस्ट्री के मुताबिक, मरने वालों में 4.100 बच्चे हैं। वहीं इजराइल में हमास के हमलों में 1,403 लोगों की जान गई है।

ब्लिंकन की धमकी
इजराइल और हमास की जंग में अमेरिका सीधे तौर पर इजराइल के साथ खड़ा है। इसी वजह से बगदाद, बेरूत और तुर्किये में उसके एयरबेस को निशाना बनाया गया है। अब अमेरिका ने इन घटनाओं पर सख्त रुख दिखाया है।

सोमवार को अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन तुर्किये पहुंचे। इसके पहले वो इराक की राजधानी बगदाद में थे। ब्लिंकन ने कहा- हाल ही में हमारे एयरबेस पर हमलों की कोशिश हुई है। अगर ये सिलसिला नहीं रुका तो नतीजे गंभीर होंगे। इन देशों की सरकारों को सतर्क हो जाना चाहिए।

सर्दियों में जंग के लिए तैयार इजराइली सेना
सोमवार को इजराइल डिफेंस फोर्स (IDF) ने कहा कि गाजा में मिलिट्री ऑपरेशन पूरा होने में वक्त लग सकता है। लिहाजा उसने आने वाली सर्दियों के मद्देनजर अपने सैनिकों को जरूरी सामान और वर्दियां मुहैया कराना शुरू कर दिया है। यह काम करीब-करीब पूरा होने को है।

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एक्टिविस्ट गिरफ्तार

इजराइल-हमास जंग के बीच इजराइली सेना ने 22 साल की फिलिस्तीनी एक्टिविस्ट अहद तमीमी को गिरफ्तार कर लिया। AFP के मुताबिक, सोमवार को तमीमी को हिंसा और आतंक भड़काने के लिए वेस्ट बैंक से अरेस्ट किया गया है। तमीमी ने 16 साल की उम्र में इजराइली सैनिक को तमाचा मारा था।

यरुशलम पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक तमीमी ने हाल ही में अपने इंस्टाग्राम पर इजराइल के खिलाफ लिखा था- यहूदियों हम तुम्हारा इंतजार कर रहे हैं। हेब्रोन से लेकर जेनिन तक हम तुम्हारा कत्लेआम करेंगे। तुम कहोगे कि हिटलर ने तुम्हारे साथ जो किया वो तो सिर्फ मजाक था। तमीमी ने आगे लिखा- हम तुम्हारा खून पी जाएंगे। तुम्हारी खोपड़ी को खा जाएंगे।

कतर में हमास चीफ से मिला पाकिस्तानी नेता
पाकिस्तान की पॉलिटिकल पार्टी जमात ए उलेमा ए इस्लाम के हेड फजलुर रहमान ने कतर में हमास नेताओं से मुलाकात की। रिपोर्ट्स के मुताबिक फजलुर रहमान कतर में हमास चीफ इस्माइल हानिये से मिला।

पाकिस्तानी अखबार डॉन के मुताबिक रहमान हमास के पूर्व चीफ खालेद मेशाल से भी मिला। इस मुलाकात में उसने फिलिस्तीन के अलावा कश्मीर के मुद्दे पर बातचीत की। हमास के पूर्व चीफ खालेद ने कहा- जो देश मानवाधिकारों की बात करते हैं, वे ही हथियारों से भरे जहाज इजराइल भेज रहे हैं। फिलिस्तीन और कश्मीर के हालात मानवाधिकार कार्यकर्ताओं के लिए इम्तिहान हैं।

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तुर्किये में अमेरिकी एयरबेस में घुसे प्रदर्शनकारी
तुर्किये में इजराइल का विरोध कर रहे प्रदर्शनकारी अडाना प्रांत में स्थित एक एयरबेस में घुस गए। यहां अमेरिकी सैनिक मौजूद थे। पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए टियर गैस और वॉटर कैनन का इस्तेमाल किया। तुर्किये जंग को लेकर इजराइल का विरोध कर रहा है। वहीं, अमेरिका जंग की शुरुआत से ही इजराइल का सपोर्ट कर रहा है।

इसके पहले अमेरिका के ओकलैंड पोर्ट पर इजराइल के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे लोगों ने मिलिट्री शिप का रास्ता रोक दिया था। इस शिप में इजराइल को दिए जाने वाले हथियार हैं। प्रदर्शनकारी इस शिप के ऊपर चढ़ गए। प्रदर्शनकारियों ने कहा कि उन्हें सूत्रों से पता चला था कि शिप में इजराइल की मदद के लिए हथियार पहुंचाए जा रहे थे। ये लोग ‘फ्री फिलिस्तीन’ के नारे लगा रहे थे।

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