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तेलंगाना

तेलंगाना की 119 सीटों पर वोटिंग,एक्टर अल्लू अर्जुन, जूनियर NTR और पूर्व क्रिकेटर अजहरुद्दीन ने वोट डाला..

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तेलंगाना की 119 विधानसभा सीटों पर सुबह 7 बजे से वोटिंग जारी है। यह शाम 5 बजे तक चलेगी। चुनाव आयोग के मुताबिक, सुबह 9 बजे तक 8.52% मतदान हो चुका है।

पूर्व क्रिकेटर और जुबली हिल्स से कांग्रेस कैंडिडेट मोहम्मद अजहरुद्दीन ने परिवार के साथ वोट डाला। AIMIM के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने भी हैदराबाद में वोटिंग की।

भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और केंद्रीय गृह राज्य मंत्री जी किशन रेड्‌डी, मुख्यमंत्री KCR के बेटे और मंत्री KTR, बेटी के कविता ने भी बंजारा हिल्स में वोटिंग की।

इसके अलावा साउथ के सुपर स्टार, अल्लू अर्जुन, जूनियर NTR, चिरंजीवी और ऑस्कर विनिंग सॉन्ग नाटू-नाटू के म्यूजिक कंपोजर MM किरावाणी ने भी मतदान किया।

8 लाख लोग पहली बार वोट डालेंगे
स्टेट इलेक्शन कमीशन के मुताबिक, राज्य में 3.17 करोड़ से ज्यादा वोटर्स हैं। इनमें 8 लाख लोग पहली बार वोट डालेंगे। नेशनल और स्टेट लेवल की कुल 109 पार्टियों के 2290 कैंडिडेट्स मैदान में हैं। राज्य में 35 हजार 655 मतदान केंद्र बनाए गए हैं। इनमें 511 केंद्र संवेदनशील हैं। ये सभी छत्तीसगढ़ और महाराष्ट्र की सीमा से लगे हैं और नक्सल प्रभावित हैं। सुरक्षा के लिए सेंट्रल आर्म्ड पुलिस फोर्स की 100 से ज्यादा कंपनियां तैनात की गई हैं। नतीजे 3 दिसंबर को आएंगे।

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BRS, कांग्रेस और भाजपा के बीच मुकाबला
तेलंगाना विधानसभा का कार्यकाल 16 जनवरी 2024 को खत्म होने वाला है। यहां पिछली बार दिसंबर 2018 में विधानसभा चुनाव हुए थे और तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) ने सरकार बनाई थी। चंद्रशेखर राव दूसरी बार CM बने थे। TRS का नाम अब BRS (भारत राष्ट्र समिति) हो गया है।

इस बार के चुनाव में सत्तारूढ़ BRS, कांग्रेस और भाजपा के बीच सीधा मुकाबला है। साल 2018 में BRS को 88, कांग्रेस को 19 सीटें मिली थीं। वहीं, भाजपा के खाते में केवल एक सीट आई थी।

राज्य की 4 पार्टियों की राजनीति 4 पॉइंट्स में समझें…

1. मुख्यमंत्री KCR दो जगह से चुनाव लड़ रहे
BRS के राष्ट्रीय अध्यक्ष KCR लगातार तीसरी बार मुख्यमंत्री बनने के लिए मैदान में हैं। वे गजवेल और कामारेड्डी दो विधानसभा सीट से चुनाव लड़ रहे हैं। दोनों ही सीटों पर उनके खिलाफ मजबूत प्रत्याशी मैदान में हैं। गजवेल में भाजपा ने उनके खिलाफ ईटाला राजेंद्र को उतारा है। वहीं, कामारेड्डी क्षेत्र से कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष रेवंत रेड्डी चुनावी मैदान में हैं।

2. भाजपा ने तीन सांसदों को मैदान में उतारा
भाजपा ने तेलंगाना में अपने सहयोगी जनसेना के साथ सभी 119 सीटों पर चुनाव लड़ रही है। पार्टी ने राज्य के चुनाव में तीन सांसदों को चुनावी मैदान में उतारा है। करीमनगर सीट से पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और सांसद बंदी संजय कुमार, बोथ से सांसद सोयाम बापू और कोरुतला से सांसद अरविंद धर्मपुरी को BJP ने अपना उम्मीदवार बनाया है। इससे पहले पार्टी ने MP-राजस्थान में भी इसी तरह का प्रयोग कर कई मौजूदा सांसदों को चुनाव मैदान में उतार चुकी है।

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इसके अलावा राज्य में भाजपा के इकलौते विधायक टी राजा सिंह को भी टिकट मिला है। पार्टी ने उन्हें अगस्त 2022 में सस्पेंड कर दिया था। उन्होंने पैगंबर मोहम्मद को लेकर एक विवादित टिप्पणी की थी। टी राजा गौशमहल से विधायक हैं। भाजपा ने इसी सीट से उन्हें फिर से उम्मीदवार बनाया है। इस पर AIMIM चीफ ओवैसी ने कहा था कि BJP में नफरत फैलाने वालों को जल्दी प्रमोशन मिलता है। यकीन है नुपूर शर्मा को भी PM से आशीर्वाद मिलेगा।

3. कांग्रेस ने भी तीनों सांसदों को उम्मीदवार बनाया
कांग्रेस ने 119 में से 118 सीटों में अपने उम्मीदवार घोषित किए हैं। पार्टी ने अपने तीनों मौजूदा सांसदों को चुनावी मैदान में उतारा है। मल्काजगिरी के सांसद ए.रेवंत रेड्डी को कोडंडल से, भोंगिर के सांसद कोमाटिरेड्डी वेंकट रेड्डी को नलगोंडा से और नलगोंडा के सांसद एन. उत्तम कुमार रेड्डी को हुजूरनगर से मैदान में उतारा है।

4. ओवैसी की पार्टी ने 9 सीटों पर उतारे उम्मीदवार
हैदराबाद जिले में लोकसभा हो या विधानसभा चुनाव की सियासत ओवैसी के इर्द-गिर्द घूमती है। ओवैसी की पार्टी AIMIM 9 सीटों पर चुनाव लड़ रही है, जबकि बाकी सीटों पर BRS को समर्थन दिया है। पिछले चुनाव में AIMIM ने 7 सीटें जीती थीं।

2018 चुनाव में BJP को मिली थी सिर्फ एक सीट
तेलंगाना में 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में BJP को सिर्फ एक सीट मिली थी। मौजूदा मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव की पार्टी TRS (2022 में पार्टी का नाम तेलंगाना राष्ट्र समिति से बदलकर भारत राष्ट्र समिति कर दिया गया) को सबसे ज्यादा 88 सीट मिली थीं। वहीं कांग्रेस के खाते में 19 सीटें आईं।

मौजूदा स्थिति की बात करें तो सत्ताधारी पार्टी के पास इस वक्त 119 विधानसभा सीटों में से 101 विधायक हैं। वहीं असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी AIMIM के पास 7 विधायक हैं, जबकि कांग्रेस के पास पांच, भाजपा के पास तीन, AIFB के पास एक, एक नॉमिनेटेड और एक निर्दलीय विधायक हैं।

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